विकास के साथ-साथ सांस्कृतिक, परंपराओं व प्रकृति की रक्षा हम सबो का कर्तव्य: पूर्व विधायक

कसमार प्रखंड के सिल्लीसाढ़म व तिलैया गजार में सरहुल महोत्सव का हुआ आयोजन

हेमंत महतो हिंदिइयार 

कसमार (बोकारो)। कसमार प्रखंड अंतर्गत सोनपुरा पंचायत के सिल्लीसाढ़म व गर्री पंचायत के तिलैया गजार में गुरुवार को बोंगा बुरू जाहेर थान में सरहुल महोत्सव का आयोजन किया गया। स्थानीय विधायक सह मंत्री पेयजल एवं स्वच्छता तथा उत्पाद तथा मध निषेध विभाग योगेंद्र प्रसाद की धर्मपत्नी सह पूर्व विधायक बबीता देवी, प्रखंड प्रमुख नियोती कुमारी व ज़िप सदस्य अशोक मूर्मू ने बोंगा बुरू जाहेर थान में सरहुल पूजा, बाहा पर्व महोत्सव में शामिल हुईं। पूर्व विधायक बबिता देवी व प्रमुख नियोती कुमारी ने बोंगा बुरू स्थल में मत्था टेका और क्षेत्र की सुख, समृद्धि की मंगलकामना की। इस दौरान पूर्व विधायक बबीता देवी ने कहा कि आदिवासी और प्रकृति एक दूसरे के पूरक हैं। विकास के साथ-साथ सांस्कृतिक ,परंपराओं प्रकृति की रक्षा हम सबो का कर्तव्य है। आदिवासियों का प्रकृति के प्रति प्रेम, सम्मान और संरक्षण का भाव अभूतपूर्व है। प्रकृति को समर्पित बाहा पर्व में आदिवासियों का उल्लास और उत्साह खास होता है। आदिवासियों की परंपरा, संस्कृति में विश्व कल्याण का मंत्र निहित है, प्रकृति और पर्यावरण संरक्षण को लेकर यह पर्व एक बड़ा वैश्विक संदेश प्रसारित करता है। इस दौरान माननीय पूर्व विधायक महोदया पारंपारिक समूह नृत्य में महिलाओं के साथ मांदर की थाप पर भी थिरकीं। प्रमुख नियोती कुमारी ने कहा कि सरहुल केवल एक पर्व नहीं, बल्कि हमारी सभ्यता और प्रकृति के प्रति कृतज्ञता प्रकट करने का एक महान अवसर है। सरहुल प्रकृति पूजा का महापर्व है, जो हमें यह सिखाता है कि हम अपने जंगल, जल, भूमि और पर्यावरण की रक्षा करें। हमारे पूर्वजों ने हमेशा प्रकृति को पूजनीय माना है। यह पर्व हमें पेड़-पौधों के संरक्षण और पर्यावरण की रक्षा का संदेश देता है। आज जब पूरे विश्व में जलवायु परिवर्तन और पर्यावरण संकट की बात हो रही है, तब सरहुल का महत्व और भी बढ़ जाता है।

इस दौरान पूर्व विधायक व प्रमुख पारंपारिक समूह नृत्य में महिलाओं के साथ मांदर की थाप पर सरहुल नृत्य की। मौके जेएमएम बोकारो जिला प्रमुख संजोजक रतन लाल मांझी, मुखिया चन्द्रशेखर शेखर हेम्ब्रम, पंसस पुनम मरांडी, पूर्व मुखिया सिकंदर कपरदार, मांझी हडा़म नकुल मूर्मू, मनोहर मूर्मू, नागेश्वर चौधरी, धनंजय स्वर्णकार, युधिष्ठिर हेम्ब्रम, राजेन्द्र प्रसाद मूर्मू, सोनिया देवी, पारो देवी, सुनिता देवी, नंदन कपरदार, हरेंद्र महतो, आकाश टुड्डू, रतन बेसरा, जानी अंसारी आदि शामिल थे।

प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *

Share via
Copy link